मंगलवार, 11 मई 2021

सैम्पलिंग दल के साथ ग्राम में हुये अभद्र व्यवहार पर बीएमओ द्वारा दर्ज कराई गई थी शिकायत, एसडीएम ने थाना प्रभारी को दिये कार्यवाही के दिये निर्देश

कटनी -: अनुविभागीय अधिकारी एवं उपखण्ड मजिस्ट्रेट रीठी ने थाना प्रभारी रीठी को बड़गांव निवासी शकुन बाई के विरुद्ध नियामानुसार अनुशासनात्मक कार्यवाही सुनिश्चित करने के निर्देश दिये हैं। प्रकरण के अनुसार खण्ड चिकित्सा अधिकारी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रीठी द्वारा अवगत कराया गया था कि 11 मई को सैम्पल कलेक्शन करने ग्राम बड़गांव में सैम्पलिंग दल गया हुआ था। वहां पर सुषमा चक्रवर्ती आशा कार्यकर्ता बड़गांव द्वारा कोविड-19 के संक्रमित व्यक्तियों के साथ आस पासके लोगों को सैम्पलिंग टीम से अपनी जांच करवा लेने के लिये कहा। जिसे सुनकर शकुन बाई चौधरी पति जितेन्द्र चौधरी अभद्रता पूर्व व्यवहार करते हुये लाठी लेकर मारने दौड़ी अन्य सहकर्मी मंजूलता सोनी आशा सहयोगी न रहती तो उक्त महिला द्वारा सुषमा चक्रवर्ती पर घातक हमला कर दिया गया होता।

            इससे स्पष्ट है कि सैमपलिंग टीम को जान का खतरा है। उक्त महिला शकुन बाई चौधरी पर स्वास्थ्य कर्मियों के शासकीय कार्य में बाधा डालने एवं जानकारी से मारने की कोशिश की गई है। जिस पर बीएमओ रीठी द्वारा इस संबंध में उचित कार्यवाही करने का लेख किया गया है। इस आधार पर एसडीएम द्वारा थाना प्रभारी रीठी को आवश्यक कार्यवाही के निर्देश दिये गये हैं।

पुलिस अधीक्षक अवस्थी ने जिले में रेमडेसीवर इंजेक्शन, विभिन्न दवाओं और ऑक्सीजन आदि की कालाबाजारी के सम्बंध में जाँच के लिये की एसआईटी गठित

कटनी - उच्च न्यायालय के आदेश के परिपालन में पुलिस अधीक्षक मयंक अवस्थी द्वारा एसआईटी का गठन किया गया है। यह एसआईटी जिले में रेमडेसीवर इंजेक्शन, विभिन्न दवाओं और ऑक्सीजन आदि की कालाबाजारी के सम्बंध में जाँच का कार्य करेगी। इस दल का प्रभारी अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संदीप मिश्रा को नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही इसमें जिले के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल किये गये हैं।

पुलिस अधीक्षक अवस्थी ने बताया कि गठित एसआईटी द्वारा अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के नेतृत्व में कार्य करना प्रारंभ कर दिया गया है। जिसके तहत मंगलवार को टीम द्वारा जिले के ऐसे सभी अस्पतालों एवं मेडिकल स्टोर्सजिनको इन दवाओं एवं ऑक्सीजन आदि का आवंटन हुआ था या इनके वितरण में संलग्न थेउन्हें नोटिस जारी कर इनके वितरण और उपयोग के संबंध में जानकारी माँगी गई है।

इन अस्पतालों में लोगों का कोविड उपचार किया जा रहा है और उपचार के दौरान रेमडेसीवर इंजेक्शनऑक्सीजन आदि का प्रयोग किया गया हैइसलिए इस सम्बंध में जानकारी माँगी जा रही है कि ताकि कहीं इनका दुरुपयोग ना हुआ हो। साथ ही इनकी कालाबाजारी ना हुई हो। नकली रेमडेसीवर दवा उपचाररत कोविड मरीजों को तो नहीं दी गईआदि की जाँच यह एसआईटी करेगी। ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोविड मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ ना हो।

होम आइसोलेशन का उल्लंघन करना ज्ञानेंद्र को पडा भारी, दर्ज हुई FIR

कटनी -: कोरोना के बढ़ते संक्रमण की रोकथाम को लेकर जिला प्रशासन द्वारा कई कड़े कदम उठाये गये हैं। पुलिस प्रशासन के द्वारा कोरोना कर्फ्यू का सख्ती से पालन कराया जा रहा है। कलेक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट प्रियंक मिश्रा ने होम आईसोलेशन का सख्ती से पालन कराने के लिये पृथक से डिटेल्ड ऑर्डर जारी किया है। जिसमें होम कोरेन्टाईन या इंन्स्टीट्यूशनल कोरेन्टाईन का निर्णय लेने का अधिकार संबंधित क्षेत्र की आरआरटी को सौंपा गया है। जिसका आरआरटी द्वारा सख्ती से पालन कराया जा रहा है।

मंगलवार को होम आईसोलेशन की गाईड लाईन का उल्लंघन पाये जाने पर रेपिड रिस्पॉन्स टीम क्रमांक 18 द्वारा पुलिस मे एफआईआर दर्ज कराई गई है। आरआर टीम के प्रभारी सतीश पटेल ने बताया कि 11 मई को कोविड पॉजीटिव ज्ञानेन्द्र प्रजापति के निवास का भ्रमण दल द्वारा किया गया। बहोरीबंद के पठानी मोहल्ला निवासी ज्ञानेन्द्र प्रजापति 9 मई को कोविड पॉजीटिव आये थे। जिसके बाद वे होम आईसोलेशन में रह रहे थे। मंगलवार को दल द्वारा किये गये निरीक्षण में पाया गया कि ज्ञानेन्द्र प्रजापति अपने गांव चले हैं। उनके साथ उनका पूरा परिवार भी गांव गया है।

            ज्ञानेन्द्र के द्वारा होम आईसोलेशन के नियमों के उल्लंघन पर मौके पर ही आरआर टीम द्वारा पंचनामा तैयार किया गया। जिसके बाद संबंधित पुलिस थाने में एफआईआर दर्ज कराने की कार्यवाही भी दल द्वारा कराई जा रही है।

            उल्लेखनीय है कि गतदिनों ही राज्य शासन द्वारा होम आईसोलेशन के मरीजों के लिये नई गाईड लाईन जारी की गई थी। जिसके तहत कलेक्टर प्रियंक मिश्रा द्वारा आदेश जारी करते हुये होम आईसोलेशन में रह रहे व्यक्तियों द्वारा उल्लंघन किये जान पर संबंधित आरआर टीम को आवश्यक कार्यवाही के निर्देश भी दिये गये थे। जिसके तहत मंगलवार को बहोरीबंद अनुविभाग अंतर्गत कार्यवाही की गई है।

नकली दवा और इंजेक्शन बेचने वालों को होगी उम्र कैद : डॉ.मिश्रा

मध्यप्रदेश -:गृह मंत्री Dr. Narottam Mishra  ने कहा हैं कि सरकार विचार कर रही कि प्रदेश में नकली दवाईयों का गोरखधंधा करने वालों के लिए आजीवन कारावास का प्रावधान किया जाए।

डॉ.मिश्रा ने बताया कि नकली दवा-इंजेक्शन का कारोबार करने वाले इंसानियत के दुश्मनों के विरुद्ध कानूनी कार्यवाही के लिए कानून में संशोधन के लिए विधि विभाग से परामर्श लिया जा रहा है।

डॉ.मिश्रा ने  कहा कि सरकार पूरी सख्ती के साथ नकली दवा बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई करेगी। अभी नकली दवा बेचने वालों पर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम के तहत कार्रवाई की जा रही है, लेकिन जल्द इसे खाद्य अपमिश्रण अधिनियम के अंतर्गत भी लाया जाएगा। खाद्य अपमिश्रण अधिनियम में इस तरह का कृत्य करने वालों के खिलाफ आजीवन कारावास की सजा का प्रावधान है। उन्होंने कहा कि इसके लिए विधि विभाग को मसौदा भेजा जा रहा है। विभाग से अंतिम रूप दिए जाने के बाद इसे कानून में शामिल कर लिया जाएगा। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान  स्वयं ऐसे लोगों के विरुद्ध कठोरतम कारवाही के संकेत दे चुके हैं। 

डॉ. मिश्रा ने कहा है कि ऐसे लोगों के खिलाफ न केवल सख्त कार्रवाई की जाएगी बल्कि इनकी संपत्ति को भी जब्त कर नेस्तनाबूद किया जाएगा। गृह मंत्री ने स्पष्ट किया है कि नकली दवा बेचना जघन्य अपराध है और जो लोग ऐसा करते हैं, उन लोगों के खिलाफ सरकार सख्त से सख्त कार्रवाई करने जा रही है। उन्होंने बताया कि अब तक एक दर्जन से ज्यादा लोगों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत कार्रवाई की गई है और अस्पतालों के लाइसेंस भी निरस्त किए गए हैं।

शराब छोड़कर भागे युवक व शराब दुकान के गद्दीदार पर हुई एफ आई आर, पत्रकार को धमकी मामले में क्या ??

कटनी -:
कुछ दिन पूर्व कुठला थाना की बस स्टैंड चौकी क्षेत्र में अवैध शराब को लेकर पुलिस को सूचना दी गई थी। जिसके बाद मौके पर पहुँची पुलिस को शराब तो मिली पर मौके पर कोई आरोपी नही मिला, जिसके बाद पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ अपराध क्र.295/21 धारा 34(1) के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी। 
जांच के दौरान मुखबिर की सूचना से पता चला कि अजय पिता स्व.नरेंद्र कुशवाहा 26 वर्ष रचना नगर निवासी जो कि सब्जी बेचने का काम करता है। ने लगभग डेढ़ माह पूर्व घर मे शादी कार्यक्रम होने के कारण बस स्टैंड शराब दुकान के मैनेजर (गद्दीदार) विजेंद्र तिवारी से शराब खरीदा था। लेकिन लॉक डाउन के चलते शादी केंसिल हो गई जिसके घर मे रखी शराब को अपने दोस्तों को देने गया था जिस बीच पुलिस को देख वही छोड़कर भाग गया। 
 जिसके बाद पुलिस ने शराब दुकान के मैनेजर विजेंद्र तिवारी व अजय कुशवाहा के खिलाफ धारा 41 जा.फ़ौ. का नोटिश जारी कर न्यायालय में उपस्थित होने जारी किया। 

             हालांकि शराब मामले में एक पत्रकार पर धमकी के बाद पत्रकारों ने मिलकर शराब की अवैध बिक्री पर लगातार शिकायत कर रहे है।
            पत्रकार पर धमकी मामले में आखिर हुआ क्या ये तो पता नही पर पुलिस पत्रकारों की सूचना पर मिली शराब और कार्यवाही कर अब धमकी मामले को दबाने में सफल होगे या फिर उच्च पुलिस अधिकारी मामले पर कुछ कार्यवाही भी करेंगे देखते हैं।

सोमवार, 10 मई 2021

"वैद्य आपके द्वार योजना" के जरिये घर बैठे नि:शुल्क चिकित्सा परामर्श , आयुष क्योर एप के माध्यम से लाइव वीडियों कॉल पर डॉक्टर्स से होगी चर्चा

मध्यप्रदेश -:आयुष विभाग द्वारा शुरू की गई 'वैद्य आपके द्वार' योजना के जरिये घर बैठे नि:शुल्क आयुष चिकित्सा विशेषज्ञ से लाइव वीडियों कॉल द्वारा चिकित्सा परामर्श लिया जा सकता है। योजना में आयुष की तीनों विधाओं आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी का लाभ लिया जा सकता है। नागरिक एन्ड्राइड फोन में गूगल प्ले स्टोर से AyushQure एप डाउनलोड कर इस सुविधा का लाभ ले सकते हैं।

आयुष विभाग ने सामान्य जन को आयुष स्वास्थ्य सेवा सहजता से घर पर ही सुलभ कराने के उददेश्य से इस योजना को टेलीमेडिसिन एप के माध्यम से उपलब्ध कराया है। आज के इस सूचना प्रौद्योगिकी के युग में चिकित्सा विज्ञान, इंजीनियरिंग का समन्वय रूप टेलीमेडिसिन है। इसके अंतर्गत विशेष रूप से तैयार किये गये एप 'आयुष क्योर' का रोगी तथा चिकित्सक दोनों उपयोग कर सकेंगे। इसके द्वारा रोगी सीधे वीडियो कॉल के माध्यम से चिकित्सक से परामर्श प्राप्त कर सकेंगें। चिकित्सक द्वारा बताये गये आवश्यकता होने पर विभिन्न जाँचों को कराकर अपलोड भी कर सकेंगे। इसके आधार पर चिकित्सक परामर्श दे सकेंगे। अधिक आवश्यक होने पर ही चिकित्सक चिकित्सालय में रोगी को बुलायेगें।

उपयोग का तरीका

'आयुष क्योर' एन्ड्राइड पर आधारित एक एप है। यह गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकेगा। मोबाइल नम्बर द्वारा पंजीयन/साइन अप तथा ओ.टी.पी. के माध्यम से सत्यापन होने के बाद आयुष चिकित्सा पद्धति आयुर्वेद, होम्योपैथी और यूनानी के अनुसार चिकित्सक तथा समय चुनकर अपॉइटमेंट बुक कर सकेंगें। चुने गये चिकित्सक द्वारा निर्धारित समयानुसार ही एप के माध्यम से वीडियों कॉल कर चिकित्सा परामर्श दिया जायेगा एवं परामर्श पत्र प्रेषित किया जा सकेगा।

आयुष स्वास्थ्य सुविधाओं को आसानी से दूर दराज तक रहने वाले लोगों तक पहुँचाने एवं चिकित्सालय में न पहुँच पाने वाले रोगियों के लिये यह सुविधा कोरोना संकट काल में वरदान साबित होगी।

रविवार, 9 मई 2021

आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के लिये निःशुल्क कोविड उपचार, आयुष्मान कार्ड नहीं बना फिर भी हो सकेगा उपचार

कटनी -: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि प्रदेश के समस्त आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों को निःशुल्क कोविड उपचार उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार संकल्पबद्ध है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री कोविड उपचार योजना लागू की गई है। इस योजना में आयुष्मान कार्डधारी परिवारों का निःशुल्क कोविड उपचार करने के लिए महत्वपूर्ण निर्णय भी लिये गये हैं।

कलेक्टर मिश्रा ने बताया कि योजना के तहत आयुष्मान पैकेज की दरों में 40 प्रतिशत की वृद्धि कर उनको वर्तमान में उपचार के लिये प्रायवेट अस्पतालों की दरों के समकक्ष लाया गया है। इसमें विशेष जाँचों जैसे सीटी स्केन, एमआरआई आदि की अधिकतम सीमा जो पूर्व में 5 हजार रूपये प्रति परिवार प्रतिवर्ष थी, इसे संशोधित कर वर्ष 2021-22 में कोविड-19 के उपचार हेतु भर्ती कार्डधारियों के लिए 5 हजार रुपये प्रति कार्डधारी कर दिया गया है।

वर्तमान में प्रदेश के कोविड उपचार हेतु चिन्हित अस्पतालों की संख्या 579 के विरुद्ध मेडिसिन विशेषज्ञता वाले 288 अस्पताल ही आयुष्मान योजना के इम्पेनल्ड है। अतः जिला स्वास्थ्य समिति को जिला स्तर पर कोविड-19 के इलाज के लिए सार्थक पोर्टल पर पंजीकृत निजी अस्पताल को आयुष्मान भारत योजना में तीन माह के लिए अस्थायी सबद्धता प्रदान करने के लिए अधिकृत किया गया है।

मेडिसिन विशेषज्ञता रखने वाले अस्पतालों को तीन माह की अस्थाई संबद्धता

कलेक्टर मिश्रा ने बताया कि इस योजना से आर्थिक रूप से कमजोर आयुष्मान कार्डधारी परिवारों का निःशुल्क कोविड उपचार कराया जा सकेगा, जो राज्य शासन की सर्वोच्च प्राथमिकता भी है। शासन द्वारा निर्देश दिये गये हैं कि जिले के समस्त ऐसे निजी अस्पताल जो मेडिसिन विशेषज्ञता रखते हुए कोविड उपचार कर रहे हैं और सार्थक पोर्टल पर पंजीबद्ध हैं। उनकी आयुष्मान योजना के अन्तर्गत तीन माह के लिए अस्थायी संबद्धता शीघ्र दी जाये ताकि उन सभी अस्पताल में आयुष्मान योजना के नवीन पैकेज के अन्तर्गत आयुष्मान कार्डधारियों का निःशुल्क कोविड उपचार सुनिश्चित किया जा सके। बहुत छोटे अस्पतालों को यह संबद्धता न दी जाये।

पात्र परिवार के प्रत्येक सदस्य का बने आयुष्मान कार्ड

राज्य शासन प्रतिबद्धता है कि आयुष्मान भारत योजना में पात्र परिवार के प्रत्येक सदस्य को कार्ड उपलब्ध कराया जाये। यह कार्य एक अभियान के रूप में चलाया जाये। कोविड-19 के निःशुल्क उपचार के लिये विशेष अभियान चलाकर सुनिश्चित करें कि आयुष्मान पात्र परिवारों के प्रत्येक सदस्य को पृथक कार्ड मिल सके और उनका निःशुल्क कोविड उपचार किया जा सके। कोई भी आयुष्मान कार्ड की पात्रता रखने वाले परिवार के पास यदि आयुष्मान कार्ड नहीं है और उसे कोविड होने के कारण उपचार की आवश्यकता है, तो भी इनका निःशुल्क इलाज सुनिश्चित किया जाना है।

कार्ड नहीं बना, फिर भी हो सकेगा उपचार

कलेक्टर मिश्रा ने बताया कि यदि आयुष्मान कार्डधारक के परिवार का कोई सदस्य जिसका आयुष्मान कार्ड नहीं बना है और वह कोविड पॉजीटिव होकर उपचार के लिये अस्पताल में पहुँचता है तो वह तीन तरह से अस्पताल में प्रवेश पा सकेगा

     परिवार के किसी सदस्य का आयुष्मान कार्ड एवं खाद्यान्न की पर्ची, जिसके माध्यम से यह पता चलता है कि वह आयुष्मान कार्डधारक के परिवार का सदस्य है।

     आयुष्मान कार्डधारी परिवार के एक सदस्य का आयुष्मान कार्ड एवं उसके साथ समग्र आई.डी का प्रस्तुतीकरण, जिसके माध्यम से यह पता चलता हो कि वह आयुष्मान कार्डधारक परिवार का सदस्य है।

       परिवार के एक सदस्य का आयुष्मान कार्ड एवं साथ में किसी भी शासकीय विभाग के राजपत्रित अधिकारी का इस बावत प्रमाणीकरण कि वह आयुष्मान कार्डधारक के परिवार का सदस्य है। शासकीय अधिकारी इस हेतु समग्र पोर्टल के माध्यम से सत्यापित कर सकते हैं कि वह आयुष्मान कार्डधारी के समग्र आई.डी. परिवार का सदस्य है।

शासकीय चिकित्सालयों में होगी कार्ड बनाने की स्थाई व्यवस्था 

इस विषय में स्वास्थ्य सचिव आकाश त्रिपाठी ने बताया है कि कोविड उपचार के लिये भर्ती होने के पश्चात तीन दिवस के भीतर मरीज के परिवारजन को मरीज का आयुष्मान कार्ड बनवाकर अस्पताल में प्रस्तुत करना होगा। उसे यह कार्ड बनाने के लिए एक सुगमता पूर्वक व्यवस्था जिला कलेक्टर एवं मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी सुनिश्चित करेंगे और इस हेतु शासकीय चिकित्सालयों में आयुष्मान कार्ड बनाने की स्थायी व्यवस्था सुनिश्चित करेंगे।