कटनी। पिछले तीन दिनों से फेसबुक पर डेटा चोरी को लेकर एक संदेश तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि फेसबुक उपयोगकर्ताओं की निजी जानकारी बिना अनुमति के इस्तेमाल करेगा। इस पर साइबर विशेषज्ञ उपेन्द्र त्रिपाठी ने स्पष्ट किया है कि यह पूरी तरह से भ्रामक और तथ्यहीन है।
त्रिपाठी के अनुसार, इस तरह की अफवाहें वर्ष 2020-21 में भी सामने आ चुकी हैं और अब फिर सोशल मीडिया पर फैल रही हैं। फेसबुक द्वारा नाम, फोटो, वीडियो या मोबाइल नंबर जैसी निजी जानकारी को बिना अनुमति के इस्तेमाल करने की कोई नई नीति नहीं है। प्लेटफॉर्म पर पंजीयन के समय ही उपयोगकर्ता को यह विकल्प दिया जाता है कि कौन-सी जानकारी साझा करनी है और कौन-सी नहीं, जिसे बाद में प्रोफाइल सेटिंग में बदला भी जा सकता है।
उन्होंने कहा कि इस प्रकार के संदेशों का उद्देश्य केवल लोगों में डर और भ्रम फैलाना है। आमजन से अपील है कि वे जागरूक और सतर्क रहें तथा किसी भी प्रकार की भ्रामक जानकारी को पोस्ट या फॉरवर्ड करने से बचें।

कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें